भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) ने मंगलवार को कांग्रेस नेता राहुल गांधी पर तीखा हमला किया और उन पर देश के सैन्य अभियान को कमजोर करने का आरोप लगाया. बीजेपी आईटी सेल के प्रमुख अमित मालवीय ने एक तस्वीर पोस्ट की जिसमें राहुल गांधी के फेस के साथ पाकिस्तान के सेना प्रमुख आसिम मुनीर को लगाया गया है, जिसके बाद सियासी सरगर्मी बढ़ गई. कांग्रेस ने भी बीजेपी को आड़े हाथ लिया और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के पाकिस्तान दौरे की याद दिलाई है.
बिहार कांग्रेस ने पीएम मोदी के साथ तत्कालीन पाकिस्तान पीएम नवाज शरीफ की फोटो लगाई है और उसके ऊपर ‘एक बिरयानी’ लिखा, जबकि बीजपी के पोस्टर में ‘वन एजेंडा’ लिखा गया है. दोनों ही पार्टियों में पोस्टर वॉर शुरू हो गया है और जमकर सियासत हो रही है.
कांग्रेस ने बीजेपी पर क्या-क्या लगाए आरोप?
कांग्रेस नेता पवन खेड़ा ने बीजेपी नेताओं के पाकिस्तान के साथ संबंधों के ऐतिहासिक उदाहरणों का हवाला देते हुए अमित मालवीय पर हमला बोला. उन्होंने पूर्व प्रधानमंत्री मोरारजी देसाई के निशान-ए-पाकिस्तान पुरस्कार और अन्य राजनयिक घटनाओं का उल्लेख किया. खेड़ा ने कहा, ‘हम इस देश के राजनीतिक नेतृत्व से पूछना चाहते हैं कि आपने पाकिस्तान को पहले से सूचित किया था, क्या यही कारण है कि अजहर मसूद और हाफिज सईद बच निकले? जहां तक निशान-ए-पाकिस्तान का सवाल है, उनके नेता मोरारजी देसाई एकमात्र भारतीय राजनेता थे जिन्हें यह पुरस्कार दिया गया था.’
उन्होंने कहा, ‘कुछ और लोग निशान-ए-पाकिस्तान के हकदार हैं, जैसे लाल कृष्ण आडवाणी और वह व्यक्ति जो बिना बुलाए नवाज शरीफ के साथ बिरयानी खाने गए था. हमें लगता है कि उन्हें निशान-ए-पाकिस्तान मिलेगा. एक और व्यक्ति डॉक्टर एस जयशंकर हैं जो निशान-ए-पाकिस्तान का हकदार है. उन्ही के शब्द हैं कि पाकिस्तान को सूचित किया कि हम केवल आतंकवादी ठिकानों पर कार्रवाई कर रहे हैं. अमेरिका के साथ उनके बहुत करीबी संबंध हैं, तो अब देखते हैं कि उन्हें किस देश से क्या पुरस्कार मिलता है.
अमित मालवीय ने क्या दिया बयान, जिससे मचा बवाल?
बीजेपी नेता अमित मालवीय ने एक्स पर लिखा, ‘यह आश्चर्य की बात नहीं है कि राहुल गांधी पाकिस्तान और उसके हितैषियों की भाषा बोल रहे हैं. उन्होंने प्रधानमंत्री को बेदाग ऑपरेशन सिंदूर के लिए बधाई नहीं दी. वह बार-बार पूछते हैं कि हमने कितने जेट खो दिए हैं… इस सवाल का जवाब पहले ही डीजीएमओ दे चुके हैं. मजे की बात ये है कि उन्होंने एक बार भी यह नहीं पूछा कि युद्ध के दौरान कितने पाकिस्तानी जेट तबाह किए गए या कितनी भारतीय सेना ने पाकिस्तानी एयरबेस पर बमबारी की? क्या राहुल गांधी के लिए अगला टारगेट निशान-ए-पाकिस्तान है?
कहां से शुरू हुआ विवाद?
ऑपरेशन सिंदूर पर उस समय सियासत ने तूल पकड़ा जब राहुल गांधी की ओर से विदेश मंत्री एस जयशंकर की टिप्पणी पर सवाल उठाया. राहुल गांधी ने इसे न केवल एक चूक, बल्कि एक अपराध कहा. उन्होंने कहा, ‘विदेश मंत्री जयशंकर की चुप्पी न केवल बता रही है बल्कि यह निंदनीय है. इसलिए मैं फिर से पूछूंगा, हमने कितने भारतीय विमान खो दिए क्योंकि पाकिस्तान को पता था? यह कोई चूक नहीं थी. यह एक अपराध था और देश को सच्चाई जानने का हक है.’ दरअसल, एस जयशंकर ने बताया था कि उन्होंने पाकिस्तान पर हमले से पहले उसे चेतावनी दी थी कि वह उसके ऊपर हमला करने जा रहे हैं.